पत्रकारों का उत्पीड़न बर्दाश्त नहीं करेगा : आइडियल जर्नलिस्ट एसोसिएशन ,
मिर्जापुर आइडियल जर्नलिस्ट एसोसिएशन के राष्ट्रीय सचिव वीरेंद्र गुप्ता ने कहा कि प्रदेश में हो रहा पत्रकारों का उत्पीड़न किसी भी कीमत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। आइडियल जर्नलिस्ट एसोसिएशन, तन-मन-धन से पत्रकारों के साथ में है। सचिव उपरोक्त बातें मिर्जापुर जिला कार्यालय में चल रहे बैठक में कही है।
राष्ट्रीय सचिव ने कहा कि वह बहुत जल्द ही प्रदेश सरकार से पत्रकारों की सुरक्षा के लिए मांग करेंगे, क्योंकि अभी लगभग दो-तीन माह के अन्दर प्रदेश के कई जिलों से पत्रकारों के साथ की गयी अभद्रता की खबरें मिल चुकी हैं। कहीं पुलिस विभाग, कहीं राजस्व विभाग तो कहीं नेताओं पत्थर माफियाओं द्वारा हमारे पत्रकार साथियों के साथ अभद्रता की गयी और उन्हें जान से मारने तथा फर्जी मुकदमों में फंसाने की धमकी दी जा चुकी है। उन्होंने कहा कि अब इस तरह के मामले किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे। इसके लिए चाहें कुछ भी करना पड़े, लेकिन पत्रकार साथियों पर आंच नहीं आने दी जाएगी। बैठक में प्रदेश सचिव राजकुमार पटेल, मिर्जापुर जिला अध्यक्ष संदीप श्रीवास्तव मिर्जापुर जिला सचिव रंजीत मौर्या, रिशु बिंद, सारिका दुबे , राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष संतोष दुबे, के अलावा मौके पर वेबीनार के माध्यम से भी संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रमोद देव,मुंबई ,सिंगरौली ,बाराबंकी ,रायबरेली व देश के अन्य जिलों के तमाम पत्रकार साथी मौजूद रहे। पत्रकारों के हित के एजेंडे पर वार्ता के पश्चात बैठक में इस बात का भी निर्णय लिया गया कि मिर्जापुर जिला अध्यक्ष के नेतृत्व में जनपद मिर्जापुर में कार्यरत तमाम स्वयंसेवी संगठनों समाजसेवियों सरकारी कर्मचारियों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया जाएगा ।जिन्होंने कोरोना काल के दौरान अपने कामों को विपरीत परिस्थितियों में भी रुकने नहीं दिया। जिला अध्यक्ष संदीप श्रीवास्तव ने प्रमाण पत्र छपवा लिए जाने की बात कही शीघ्र ही ऐसे लोगों का लिस्ट तैयार किया जाएगा जिनको यह प्रमाण पत्र सम्मानित तरीके से दिया जाएगा।हाल में ही घटित वाराणसी जिले के पत्रकार इमरान खान के साथ दुर्व्यवहार की घटना की भी घोर निंदा संगठन ने किया है ।बताया गया कि इमरान खान वाराणसी जिले में पत्रकारिता का काम करते हैं ।उनके साथ अप्रिय घटना घटित हुई है जिसकी लिखित सूचना उन्होंने वाराणसी पुलिस कप्तान को दिया है, अभी तक विपक्षी के खिलाफ कार्रवाई न होने से पत्रकारों में आक्रोश देखा जा रहा है।