जिला प्रयागराज में संपादक संतोष कुमार के ऊपर जानलेवा हमला करके जमीन हथियाने के उद्देश्य से किए गए घटना की आइडियल जर्नलिस्ट एसोसिएशन ने घोर निंदा की है ।तो वही नैनी पुलिस से अपेक्षा किया है कि तत्काल मामले की गंभीरता को देखते हुए दोषी के खिलाफ सख्त कार्रवाई किया जाना आवश्यक है। संपादक इन दिनों बेहद दिमागी रूप से घबराए हुए हैं ।उनके पुत्र ने प्रयागराज एसएसपी को लिखे पत्र में अपनी पीड़ा व्यक्त करते हुए कहा है कि प्रार्थी शुभम केसरवानी पुत्र संतोष कुमार 1459/993 मुट्ठीगंज , थाना मुट्ठीगंज , जनपद प्रयागराज का रहने वाला हैं प्रार्थी के पिता संतोष कुमार प्रयागराज से प्रकाशित हिन्दी दैनिक “ घटनाएं ” के संपादक हैं । मेरे पिता को सीमागुप्ता पत्नी अवेधष गुप्ता एवं अवधेश गुप्ता पुत्र अज्ञात द्वारा दिनांक 14.07.2020 दिन मंगलवार करीब दोपहर 2:00 बजे अपने घर के पास अरूण कुमार उर्फ कमांडो पुत्र अज्ञात के आवास पर कमलानगर ( कमांडो नगर ) चाका , थाना नैनी , जनपद प्रयागराज में कुछ बकाये शेष के बाबत बुलाया गया था , मेरे पिता को बुलाने के लिए अरूण कुमार उर्फ कमांडों ने अपने मोबाईल फोन नं 0 9149950878 से फोन किया था , मेरे पिता वहाँ अकेले गये थे चूंकि मात्र 34,885 / – रूपये का मामला था कोई बड़ी घटना की उम्मीद नही थी जब वहाँ पहुंचे तो अरूण कुमार उर्फ कमांडो उसके चार – पांच साथी , अवधेश गुप्ता उनकी पत्नी सीमा गुप्ता एवं दो अधिवक्ता पहले से बैठे थे , बात – चीत के दौरान ही अरुण कुमार उर्फ कमांडो गाली – गलौज करते हुये जबरन अपने पास रखे पिस्टल को मेरे पिता के सिर में कान के ऊपर सटा दिया और एक लिखा पढ़ी पर हस्ताक्षर करने को कहा जब मेरे पिता ने ऐसे किसी लिखा – पढ़ी से इन्कार कर दिया तो अरुण कुमार उर्फ कमांडो और उसका एक गुर्गे ने मेरे पिता को मारना शुरू कर दिया जिससे उनके पेट , पैर एवं आँख के पास घूसों से प्रहार किया जहाँ पर गंभीर चोंटे आयी है इसी के साथ मेरे पिता की तीन तोले की सोने की चेन छीन लिया बाद में उन्ही में किसी ने कहाँ की रोलगोल्ड हैं तो उसने वापस मेरे पिता के जेब में रख मना दिया , मेरे पिता जब इसपर भी कागज पर दस्तखत के लिए साम किया तो अरुण कुमार उर्फ कमांडो ने मेरे पिता के कान के पास पिस्टल सटा का फायर कर दिया जो लगता है उसने मेरे पिता को डराने के लिए खाली पिस्टल फायर किया था उसके बाद से मेरे को होश नही रहा , पैन्ट में पेशाब तक छूट गयी थी , वह कैसे घर तक आये उनका कागजात में दस्तखत कैसे हुआ ( मेरे पिता का कहना है कि उन्होने दस्तखत अपने से नहीं बनाया है , आदि उन्हें कुछ याद नही है उनकी तबियत लगातार बिगड़ रही थी तो रात्रि में 112 पर फोन करके पुलिस को बुलाया गया और रात्रि में ही उन्हें एस.आर.एन. हास्पिटल , प्रयागराज में भर्ती कराया गया जहाँ डाक्टरों ने बताया कि उन्हे विषाक्त पदार्थ खिलाया गया है , मेरे पिता व मेरा बयान मुट्ठीगंज थाना अन्र्तगत गऊघाट चौकी प्रभारी ने लिए और कहां कि मामला थाना नैनी के अर्न्तगत का इसलिए वहीं पर प्राथमिकी दर्ज होगा । मेरे पिता आज भी डरे – सहमें है और मानसिक संतुलन खो चुके है , मैने ज्ञात किया है कि अरुण कुमार उर्फ कमांडो इलाकाई उभरता हुआ बाहुबली है और उसके खिलाफ कई लोगों ने शिकायत किया किन्तु स्थानीय पुलिस ने हमेशा अरूण कुमार उर्फ कमांडो की मदद करती रही है ऐसा मेरे साथ भी हुआ जब वह अरूण कुमार उर्फ कमांडो के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराने के लिए स्थानीय थाने गया तो मेरी कोई सुनवाई नही हुई बल्कि मुझे डांट – डपट कर भगा दिया है तब जाकर प्रार्थी श्रीमान जी की शरण में आया है । अतः निवेदन है कि अरूण कुमार उर्फ कमांडो , अवधेश गुप्ता , उनकी पत्नी सीमा गुप्ता एवं अरूण कुमार उर्फ कमांडो के गुर्गे के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर आवश्यक कार्रवाई करें।
आइडियल जर्नलिस्ट एसोसिएशन ने संपादक के ऊपर हमले की निंदा की
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